फोटो ब्लॉगर कुसुफ़ ने एक गंदी दीवार के चित्र प्रकाशित किये हैं [1] जहाँ महमूद अहमदिनेज़ाद के 2005 के राष्ट्रपति पद के चुनाव प्रचार के समय के पोस्टर अब भी दिखते हैं। पोस्टर पर खुशहाली और चैन के वायदे हैं। कुसुफ़ पूछते हैं कि उन नारों का क्या हुआ? वो कहते हैं कि न ही खुशहाली के संकेत मिले हैं और न चैन के।
इरानः नारों की सचाई
· लेखक Fred Petrossian अनुवादक Debashish Chakrabarty
विभाग: मध्य पूर्व व उत्तरी अफ्रीका, इरान, फोटोग्राफी, राजनीति, शासन